ये
स्मोग
श्वसन
दमघोंटू
छाया हवा में
धुआँ-केमिकल
प्रदूषण का फल।
ये
जानो
पीएम*
सूक्ष्म कण
चालीस गुना
बाल से महीन
टू पॉइंट फाइव।
है
फैला
ज़हर
शरीर में
खींचते हवा
ज़िन्दगी के लिये
धुंध ही प्राणवायु।
ले
आया
बाज़ार
समाधान
साँस के लिये
ख़रीदो मास्क या
वायु प्यूरीफायर।
है
कौन
जो देगा
शुद्ध हवा
पक्की गारण्टी
सोती सरकार
विवश नागरिक।
क्या
आप
दायित्व
निभायेंगे
पर्यावरण
बचाना चुनौती
दिल्ली रण भीषण।
है
दिल्ली
आसरा
आते लोग
बसते जाते
रोज़ी-रोटी नाम
रोती अंधी सुरंग।
ये
कैसे
पड़ोसी
राजधानी
ढकी स्मोग से
जलाते पराली
कोसते सरकार।
वे
नादाँ
पटाखे
जलाते हैं
भेजते ख़ुशी
दूर-दूर तक
बढ़ाते प्रदूषण।
हैं
ख़ुश
डॉक्टर
प्रदूषण
रोगी बढ़ाता
टूटती साँसें भी
अदा करेंगी बिल।
© रवीन्द्र सिंह यादव
स्मोग
श्वसन
दमघोंटू
छाया हवा में
धुआँ-केमिकल
प्रदूषण का फल।
ये
जानो
पीएम*
सूक्ष्म कण
चालीस गुना
बाल से महीन
टू पॉइंट फाइव।
है
फैला
ज़हर
शरीर में
खींचते हवा
ज़िन्दगी के लिये
धुंध ही प्राणवायु।
ले
आया
बाज़ार
समाधान
साँस के लिये
ख़रीदो मास्क या
वायु प्यूरीफायर।
है
कौन
जो देगा
शुद्ध हवा
पक्की गारण्टी
सोती सरकार
विवश नागरिक।
क्या
आप
दायित्व
निभायेंगे
पर्यावरण
बचाना चुनौती
दिल्ली रण भीषण।
है
दिल्ली
आसरा
आते लोग
बसते जाते
रोज़ी-रोटी नाम
रोती अंधी सुरंग।
ये
कैसे
पड़ोसी
राजधानी
ढकी स्मोग से
जलाते पराली
कोसते सरकार।
वे
नादाँ
पटाखे
जलाते हैं
भेजते ख़ुशी
दूर-दूर तक
बढ़ाते प्रदूषण।
हैं
ख़ुश
डॉक्टर
प्रदूषण
रोगी बढ़ाता
टूटती साँसें भी
अदा करेंगी बिल।
© रवीन्द्र सिंह यादव
पीएम* = PARTICULATE MATTER 2.5 (बाल की मोटाई से चालीस गुना छोटा सूक्ष्म कण ) साँस के लिये घातक कण
जी नमस्ते,
जवाब देंहटाएंआपकी लिखी रचना शुक्रवार ९ नवंबर २०१८ के लिए साझा की गयी है
पांच लिंकों का आनंद पर...
आप भी सादर आमंत्रित हैं...धन्यवाद।
सादर आभार आदरणीया श्वेता जी रचना को पांच लिंकों का आनद की प्रस्तुति में शामिल करने हेतु.
हटाएंबहुत ही बेहतरीन
जवाब देंहटाएंसादर आभार आदरणीया अनुराधा जी उत्साहवर्धन के लिये।
हटाएंवाह!!
जवाब देंहटाएंप्रदुषण पर वैज्ञानिक अनुसंधान करते वर्ण पिरामिड।
बहुत सुंदर।
सादर आभार आदरणीया कुसुम जी रचना का विश्लेषण करती टिप्पणी के लिये।
हटाएंआपकी इस प्रविष्टि् की चर्चा कल रविवार (01-11-2020) को "पर्यावरण बचाना चुनौती" (चर्चा अंक- 3872) पर भी होगी।
जवाब देंहटाएं--
सूचना देने का उद्देश्य है कि यदि किसी रचनाकार की प्रविष्टि का लिंक किसी स्थान पर लगाया जाये तो उसकी सूचना देना व्यवस्थापक का नैतिक कर्तव्य होता है।
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हार्दिक शुभकामनाओं के साथ।
--
सादर...!
डॉ.रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक'
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